tag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post6981092665994294999..comments2024-03-02T14:16:26.676+05:30Comments on Albelakhatri.com: बहुत होगया अलबेला खत्री !!!....अब केवल क्षमा याचना, जो दे उसका भी भला- जो न दे उसका भी भला ...Anonymoushttp://www.blogger.com/profile/09116344520105703759noreply@blogger.comBlogger22125tag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-35600208822445889972012-05-24T01:50:47.444+05:302012-05-24T01:50:47.444+05:30ईश्वर करे आप कुशल और स्वस्थ रहें, मेरी यही मनोकामन...ईश्वर करे आप कुशल और स्वस्थ रहें, मेरी यही मनोकामना है। बाकी अंतरात्मा जो कहती है वे करें। साधुवादब्लॉ.ललित शर्माhttps://www.blogger.com/profile/09784276654633707541noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-22098172232586273232012-05-23T20:29:04.842+05:302012-05-23T20:29:04.842+05:30देर आमद दुरुस्त आमद !मेरी हार्दिक शुभकामनायें आपके...देर आमद दुरुस्त आमद !मेरी हार्दिक शुभकामनायें आपके साथ है !शिवम् मिश्राhttps://www.blogger.com/profile/07241309587790633372noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-24965378090051316342012-05-23T19:13:25.008+05:302012-05-23T19:13:25.008+05:30ठहाका लगाया --आधे ठीक हो गए ।
पी टी की -- बाकि आधे...ठहाका लगाया --आधे ठीक हो गए ।<br />पी टी की -- बाकि आधे ठीक हो गए ।<br />ये लो आप बिल्कुल भले चंगे हो गए ।<br />वैसे स्पैम में नॉट स्पैम को क्लिक करने से अपने आप प्रकाशित हो जाता है ।डॉ टी एस दरालhttps://www.blogger.com/profile/16674553361981740487noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-59045094768896083892012-05-23T18:11:02.894+05:302012-05-23T18:11:02.894+05:30हम सभी में हज़ारों कमियां हैं, जब जागे तभी सवेरा....हम सभी में हज़ारों कमियां हैं, जब जागे तभी सवेरा. <br />ढेरों शुभकामनाएं.Kajal Kumar's Cartoons काजल कुमार के कार्टूनhttps://www.blogger.com/profile/12838561353574058176noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-76680278597189814312012-05-23T17:33:46.965+05:302012-05-23T17:33:46.965+05:30@dr.T.S.Daral
aapka comment spam me kyon jata hai ...@dr.T.S.Daral<br />aapka comment spam me kyon jata hai ji....mujhe mail me se utha kar yahan lagana padta hai ....beemar aadmi se itni mehnat karate ho ? <br /><br />aap dr. ho to kya hum se p t karwaaoge..ha ha ha haAnonymoushttps://www.blogger.com/profile/09116344520105703759noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-83716557707365991712012-05-23T17:20:39.352+05:302012-05-23T17:20:39.352+05:30डॉ टी एस दराल has left a new comment on your post ...डॉ टी एस दराल has left a new comment on your post "बहुत होगया अलबेला खत्री !!!....अब केवल क्षमा याचन...":<br /><br />क्या हुआ मित्र ? ऐसी दिल तोड़ने वाली बातें क्यों कर रहे हैं ?Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/09116344520105703759noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-32618535183852527112012-05-23T16:04:19.644+05:302012-05-23T16:04:19.644+05:30क्या हुआ मित्र ? ऐसी दिल तोड़ने वाली बातें क्यों क...क्या हुआ मित्र ? ऐसी दिल तोड़ने वाली बातें क्यों कर रहे हैं ?डॉ टी एस दरालhttps://www.blogger.com/profile/16674553361981740487noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-76485308293205886612012-05-23T15:35:49.379+05:302012-05-23T15:35:49.379+05:30चलिए क्षमा किया!!!!!
अच्छा फैसला है... वैसे मैं त...चलिए क्षमा किया!!!!!<br /><br />अच्छा फैसला है... वैसे मैं तो यही मानता हूँ कि आपने पहल करके तो कभी किसी का दिल नहीं दुखाया होगा... <br /><br />फिर भी "जल्दी आये, दुरुस्त आये" <br /><br />:-)Shah Nawazhttps://www.blogger.com/profile/01132035956789850464noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-52644538463484437542012-05-23T13:41:17.870+05:302012-05-23T13:41:17.870+05:30आपने जो सोचा है अच्छा सोचा है। आप अपने स्वास्थ्य क...आपने जो सोचा है अच्छा सोचा है। आप अपने स्वास्थ्य का खयाल रखिये बस। मेरे ख्याल से आपने सिग्रेट पीना बंद कर दिया होगा। वरना आरती जी से शिकायत करनी होगी। <br />जो कभी गलती नही करता वो भगवान हो जाता है। हम मात्र इंसान हैं इसीलिये गलती करके मान भी जाते हैं। जब-जब जो-जो होता है इश्वर की मर्जी होती है। सब कुछ भूल कर जुट जाईये कुछ अच्छा लिखने में। बजरंग बली आपकी रक्षा करेंगे।<br />सादर-नमस्कारसुनीता शानूhttps://www.blogger.com/profile/11804088581552763781noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-72274286485297837682012-05-23T12:52:11.446+05:302012-05-23T12:52:11.446+05:30आप ठीक कह रही हैं डॉ अरुणा जी, मैंने आपकी बात ...आप ठीक कह रही हैं डॉ अरुणा जी, मैंने आपकी बात को आत्मसात कर लिया हैAnonymoushttps://www.blogger.com/profile/09116344520105703759noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-83860241026191302362012-05-23T11:33:27.272+05:302012-05-23T11:33:27.272+05:30अलबेला जी !...ऐसा कुछ भी नहीं है..मनुष्य के अंदर भ...अलबेला जी !...ऐसा कुछ भी नहीं है..मनुष्य के अंदर भूलने की आदत जो कुदरत ने फीट की हुई है...वह एक वरदान है!..आपने जिसके लिए कुछ गलत कहा या लिखा वह सामने वाला समय के साथ भूल जाएगा और किसीने आपके साथ कुछ गलत किया है तो आप भी वह जल्दी ही भूल जाएंगे!..जमीन पर गिरा हुआ पानी कब तक जमीन को गीला रखेगा?...वह कुछ समय बाद सूख ही जाता है!<br /><br />...क्या आप बीमार है?...धीरज रखे!..आपको जल्दी ही स्वास्थ्य लाभ हो जाएगा और आप पहले की तरह ही सबको हास्य के रंग से होली खिलाते रहेंगे!Aruna Kapoorhttps://www.blogger.com/profile/02372110186827074269noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-10196306674409468842012-05-23T10:51:09.625+05:302012-05-23T10:51:09.625+05:30@Anonymous
आदरणीय गुमनामी जी, मैं शाकाहारी हूँ, ...@Anonymous<br />आदरणीय गुमनामी जी, मैं शाकाहारी हूँ, चूहे वगैरह नहीं खाता परन्तु साधु बनने का भी मेरा कोई प्लान नहीं है . मैंने तो सिर्फ़ अपनी उन भूलों के लिए क्षमायाचना की है जो अन्तर में मुझे कचोट रही थी.......आपको पूरी छूट है, आप चाहें जितना उकसा सकते हैं लेकिन अब मैं आपकी बातों से तैश में आने वाला नहीं.........रही बात पोस्ट डिलीट करने की, तो कल रात से वही काम चालू है ..........अब तक 38 पोस्ट मिटा चुका हूँ . अगर आप समझते हैं कि ये काम पल भर में हो जाएगा तो आप भूल रहे हैं कि 1200 से ज़्यादा पोस्ट चैक करनी है...........<br /><br />और हाँ मुझे आपका प्रमाण-पत्र नहीं चाहिए, मैं जो कर रहा हूँ वो दिल की आवाज़ पर कर रहा हूँ, किसी और के दबाव अथवा भय से नहीं....<br /><br />पुरस्कार तो मैं दिया करता हूँ प्यारे, लेता कहाँ हूँ ? अभी 12 मई को ही सूरत के श्री नरेश कापड़िया को सारस्वत सम्मान से नवाज़ा है जिसके तहत उन्हें सम्मान पत्र, प्रतीक चिन्ह, शाल-श्री फल तथा 11000 /- रूपये नगद भेन्ट किये गये . कृपया अब ठंडी ठंडी बात करो....ये आग लगाऊ हरकतें मत करो........जय हिन्द !Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/09116344520105703759noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-30502739651620689932012-05-23T10:31:34.307+05:302012-05-23T10:31:34.307+05:30aaj aap man dravit kar gaye.....aap gyani hain.......aaj aap man dravit kar gaye.....aap gyani hain....tabhi to vinamra hain.......hum balak<br />aapke liye hardik subh:kamnayen chahte hain..<br /><br /><br />pranam.सञ्जय झाhttps://www.blogger.com/profile/08104105712932320719noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-70335982384835622322012-05-23T10:22:31.938+05:302012-05-23T10:22:31.938+05:30कमाल हैं सौ चूहे खा के बिल्ली हज को चली
झूठ के सिर...कमाल हैं सौ चूहे खा के बिल्ली हज को चली<br />झूठ के सिर और पैर दोनों होते हैं<br />क़ोई पोस्ट डिलीट नहीं की हैं<br />साधू बनने की बेकार कोशिश हैं ताकि ब्लॉगर सम्मान मिलेAnonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-81715995055112291382012-05-23T09:17:36.445+05:302012-05-23T09:17:36.445+05:30आपके अंतस से क्षमा भाव का उदय हुआ है। ऐसी ही अन्तर...आपके अंतस से क्षमा भाव का उदय हुआ है। ऐसी ही अन्तर प्रेरणा से मन शुद्ध सात्विक होता है। किसी का दिल दुखाने के पश्चाताप से अधिक कोई गंगास्नान नहीं है। आपने सही कहा-"बाहर के इस फोकटिये चक्कर में भीतर की यात्रा बन्द हो चुकी थी." <br />अक्सर हम अपने बौद्धिक प्रदर्शन के प्रलोभन में भीतर की आत्मिक शान्ति को दरकिनार कर देते है। आपके इस आत्मचिंतन के प्रकाशन पर आपके प्रति सम्मान बढ़ गया है ऐसा चिंतन स्तुत्य है। और इस विचार के सार्वजनिक प्रकट्न पर आभार व्यक्त करता हूँ क्योंकि ऐसे अनुभवों से सद्विचार प्रसार पाते है।सुज्ञhttps://www.blogger.com/profile/04048005064130736717noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-16194171177561036322012-05-23T08:40:54.940+05:302012-05-23T08:40:54.940+05:30आपका फ़ैसला बहुत अच्छा है।
ग़लतियां हो जाती हैं लेकि...आपका फ़ैसला बहुत अच्छा है।<br />ग़लतियां हो जाती हैं लेकिन उनका जायज़ा लेकर उनसे बचना ज़रूरी है।<br />आपने सही कहा है कि <br /><a href="http://sufidarwesh.blogspot.in/2012/05/ruhani-haqiqat.html" rel="nofollow"><b>अन्दर की दुनिया बाहर की दुनिया से ज़्यादा रौशन है।</b></a>DR. ANWER JAMALhttps://www.blogger.com/profile/06580908383235507512noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-8223219537527877212012-05-23T07:39:05.921+05:302012-05-23T07:39:05.921+05:30एक निर्मल पोस्ट! दिल की बात को इस तरह पहचानना, कहन...एक निर्मल पोस्ट! दिल की बात को इस तरह पहचानना, कहना और करना सब के बस की बात नहीं है। राष्ट्रीय पहचान वाले कविहृदय के अनुरूप उद्गार! आपके उत्तम स्वास्थ्य के लिये शुभकामनायें!Smart Indianhttps://www.blogger.com/profile/11400222466406727149noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-32071241623694100142012-05-23T02:34:05.950+05:302012-05-23T02:34:05.950+05:30.
यह क्या अलबेला जी !
भाईजी, स्वास्थ्य का ध्य....<br /><br /><br />यह क्या अलबेला जी ! <br /><br /><br />भाईजी, स्वास्थ्य का ध्यान रखा करें … <br /><b>हार्दिक शुभकामनाएं ! </b> <br />-राजेन्द्र स्वर्णकारRajendra Swarnkar : राजेन्द्र स्वर्णकारhttps://www.blogger.com/profile/18171190884124808971noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-66876465939729632302012-05-22T23:37:03.540+05:302012-05-22T23:37:03.540+05:30@sanjay ji
आपके उदार व्यवहार के लिए आभारी हूँ सं...@sanjay ji<br />आपके उदार व्यवहार के लिए आभारी हूँ संजय जी, भविष्य में मृदुता बनी रहे, ऐसा प्रयास करेंगे.Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/09116344520105703759noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-56957347962906777202012-05-22T23:28:20.959+05:302012-05-22T23:28:20.959+05:30मेरी बातों से आपको जो तकलीफ हुई उसके लिए मैं भी आप...मेरी बातों से आपको जो तकलीफ हुई उसके लिए मैं भी आप से क्षमा चाहता हूँ और अंतर्यात्रा की सफलता की कामना भी कर रहा हूँ|संजय @ मो सम कौन...https://www.blogger.com/profile/14228941174553930859noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-54016985613055801582012-05-22T23:25:26.425+05:302012-05-22T23:25:26.425+05:30@कुमार राधारमण जी,
मुझे याद आ रहा है कि चार साल प...@कुमार राधारमण जी,<br />मुझे याद आ रहा है कि चार साल पहले जब मैंने अपना पहला ब्लॉग बनाया, तब यह सोच कर नहीं आया था कि झंडा गाड़ दूं........उखाड़ दूँ या पछाड़ दूँ. तब मेरे मन में केवल यह बात थी कि मेरे भीतर जो शब्द का थोड़ा बहुत प्रकाश है, उसे सब लोगों के साथ सांझा करते हुए हिन्दी व हिन्दी साहित्य को समृद्ध करने में अपनी सहभागिता दूँ . परन्तु न जाने कब, कैसे मन:स्थिति में परिवर्तन होता गया और अपनी तमाम विनम्रता व शिष्टता भूल कर, अपनी तार्किक शक्ति आज़माने पर तुल गया . खैर......अब ऐसा नहीं होगा . क्योंकि मैं जान गया हूँ कि दुनिया के काँटे मैं नहीं हटा सकता, हाँ अपने पाँव में चप्पल पहन लूँगा तो इन काँटों से स्वयं को बचा सकूँगा .Anonymoushttps://www.blogger.com/profile/09116344520105703759noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-303919957706694657.post-76542374663977948512012-05-22T23:00:50.162+05:302012-05-22T23:00:50.162+05:30मैं समझता हूं कि इतना कहने के बाद इस बात पर अविश्व...मैं समझता हूं कि इतना कहने के बाद इस बात पर अविश्वास का कोई कारण नहीं है कि जो आप कह रहे हैं,वह किसी आवेश में नहीं कह रहे। हममें से हर कोई चूक करता है। क्षमायाचना न की जाए,तो भी आगे उन भूलों को दुहराने से बचकर अपनी छवि बदली जा सकती है। मुख्य बात यह है कि किसी और ने चाहे जो समझा हो,स्वयं आपको क्या अनुभव हुआ। यदि आपका अंतस किसी अपराध-बोध से ग्रस्त है,तो निर्मल भाव से उसकी अभिव्यक्ति मात्र से गलती मिट गई समझिए। <br />ब्लॉग जगत में अपनी रचनात्मक सक्रियता बनाए रखें।कुमार राधारमणhttps://www.blogger.com/profile/10524372309475376494noreply@blogger.com