संकट में है जान हमारी, हे हनुमान बचालो !
पड़ी ज़रूरत आन तुम्हारी, हे हनुमान बचालो !
अवध धरा पर वध जारी है और तुम देख रहे हो
मानवता पर बमबारी है और तुम देख रहे हो
पुलिस यहाँ अत्याचारी है और तुम देख रहे हो
अधिकारी भ्रष्टाचारी है और तुम देख रहे हो
पूरी व्यवस्था व्यभिचारी है और तुम देख रहे हो
आज हुकूमत हत्यारी है और तुम देख रहे हो
देश की जनता आज पुकारी, बाबा जान बचालो !
पड़ी ज़रूरत आन तुम्हारी, हे हनुमान बचालो !
मंहगाई के लट्ठ से सबका माथा फूट रहा है
अर्थशास्त्री मनमोहनसिंह जम कर कूट रहा है
कब तक अपने आँसू रोकूँ, धीरज छूट रहा है
बाँध सब्र का अब तक रोका, पर अब टूट रहा है
न अब घर में दूध दही है, न अब फ्रूट रहा है
देश का नेता दोनों हाथों से देश को लूट रहा है
इन चाण्डालों के चंगुल से हिन्दुस्तान बचालो !
संकट में है जान हमारी, हे हनुमान बचालो !
-अलबेला खत्री
hindi hasyakavi sammelan in mangalore by MRPL
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शानदार, शानदार, शानदार …………………
शानदार और जानदार रहा मंगलूर रिफ़ाइनरी एंड पेट्रोकेमिकल्स लिमिटेड द्वारा
राजभाषा विभाग के तत्वाधान में डॉ बी आर पाल द्वारा आ...
10 years ago
8 comments:
अच्छा तरीका है बात कहने का।
Pawansut Hanumaan ki JAI...........
सार्थक व् सुन्दर भावाभिव्यक्ति .आभार
वाह ! बढ़िया चोट की है चांडालों पर |
इन को सबक सिखाने के लिये तो खुद ही वीर बनाना पडेगा,बहुत सुंदर रचना..... हे जी धन्यवाद
"इन चाण्डालों के चंगुल से हिन्दुस्तान बचालो!"
चाण्डालों के चंगुल से देश को बचाने के लिए केवल हनुमान जी से प्रार्थना करने से काम नहीं चलने वाला अलबेला जी, इसके लिए तो देश के प्रत्येक व्यक्ति को हनुमान जी का सैनिक बन कर युद्ध करना होगा।
सही मुद्दे को लेकर बहुत बढ़िया और सटीक लिखा है आपने ! शानदार प्रस्तुती !
jay bajrang bali tod duhman ki nali.
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