Albelakhatri.com

Hindi Hasya kavi Albela Khatri's blog

ताज़ा टिप्पणियां

Albela Khatri

लोग सेक्स, सेक्स और सिर्फ़ सेक्स के दीवाने हैं और ख़ूब प्यार करते हैं सेक्स से भरपूर आलेख को.......






मैंने कई बार ये महसूस किया है कि हास्य -व्यंग्य के साथ साथ

मैं अपनी साहित्यिक कवितायें और आलेख भी प्रमुख रूप से अपने

ब्लोग्स पर प्रकाशित करूँ, लेकिन जब हश्र देखता हूँ साहित्यिक

कविताओं का इन ब्लोग्स पर तो तकलीफ़ होती है क्योंकि इत्ती

मेहनत और समय खर्च करने के बाद लगाईं गई रचना बेचारी तरस

जाती है पाठक के लिए जबकि हास्य की रचनाएं और उससे भी

पहले वयस्क आलेखों पर ज़्यादा पाठक पधारते हैं


यहाँ मैं मेरे चार अलग अलग ब्लोग्स पर आये हुए `पाठकोँ की संख्या

दिखा कर ये साबित करना चाहता हूँ कि नेट पर लोग अच्छी नहीं,

मनोरंजक सामग्री ढूंढते हैं साथ ही स्टेट काउंटर पर दर्ज़ आंकड़े भी

देख लीजिये कि कितने प्रतिशत लोग क्या सर्च करके इन ब्लोग्स पर

पहुँचते हैं : बड़े दुःख के साथ कहना पड़ता है कि लोग सेक्स, सेक्स और

सिर्फ़ सेक्स के दीवाने हैं और ख़ूब प्यार करते हैं

सेक्स से भरपूर आलेख को...........




Posts
More ▸




Posts
More ▸



Posts
More ▸



Posts
More ▸




निम्नांकित सर्च परिणाम केवल albelakhatri.com ब्लॉग के हैं :


Keyword Analysis (Official Website of Albela Khatr) 18th September 2010 18:43:44

Your log size of 500 has 500 entries. Upgrade to 5,500 for just $5 a month.


TIP drill down Click the little drill down arrow next to each result to show the users that used this keyword to find your website.

Num Perc.Search Term
drill down5226.13%छाती
drill down168.04%गन्दे चुटकुले
drill down115.53%गन्दे चुटकु
drill down73.52%poem on hasya rachna in hindi
drill down63.02%अंगड़ाई
drill down52.51%पै
drill down52.51%albelakhatri.com
drill down42.01%balatkar kavita
drill down31.51%गुजरात समाचार
drill down31.51%हरजाई
drill down31.51%सम्भोग
drill down31.51%laughter ke phatake
drill down21.01%albela khatri in chennai
drill down21.01%नक्सलवाद पर क%E
drill down21.01%गन्दे hindi चुटकुले
drill down21.01%ताई
drill down21.01%Adult jokes(हिदी)
drill down21.01%अलबेला खत्री
drill down21.01%जैन समाज
drill down21.01%जूली
drill down21.01%हास्य कवि सम्मेलन
drill down21.01%sone chandi par Haasya kavita in hindi
drill down21.01%चित्तौड़गढ़
drill down21.01%hindi hasya on pati site
drill down21.01%बुज़ुर्गों
drill down21.01%सम्भोग करना
drill down21.01%शील भंग
drill down21.01%करती थी
drill down10.50%ਸੇਕ੍ਸ
drill down10.50%himdi suhagarat story
drill down10.50%नारी का सम्मा
drill down10.50%गांधीजी पर एक कविता
drill down10.50%क्या ज़माना
drill down10.50%bharat kee bahvanathmak ekta ke marg ki badhaye
drill down10.50%ताई जी
drill down10.50%एनीमलsax
drill down10.50%रामदेव बाबा
drill down10.50%सुमिरन
drill down10.50%कवि सम्मेलनों
drill down10.50%पुरुषों के लिंग के साइज
drill down10.50%BHOOGOL VIDIO
drill down10.50%हिन्दी हास्य कवि सम्मेलन
drill down10.50%जच्चा और बच्च
drill down10.50%bal shram par kavita
drill down10.50%हिदी सेक्स विडियो
drill down10.50%हिन्दी कविता
drill down10.50%दया
drill down10.50%neta par bal kavita
drill down10.50%क्या शहीदों क%E
drill down10.50%करामाती BABA
drill down10.50%गुजरात समाचार vidio
drill down10.50%कृष्ण उपदेश
drill down10.50%अप्सरायें
drill down10.50%sexy दोहे
drill down10.50%satya bachan
drill down10.50%तुम्हारे लिंग के लिए, उसके स
drill down10.50%सादी
drill down10.50%लेडीज़ टेलर
drill down10.50%रतन सिंह शेखा
drill down10.50%नारी
drill down10.50%मेरे स्तनों
drill down10.50%हिन्दी कवि सम
drill down10.50%दिलवाले
drill down10.50%सलाम या अली,प्%
drill down10.50%साबुन लगा
drill down10.50%albela khatri blog
drill down10.50%क्रीम घी
drill down10.50%HINDI KA APMAAN
drill down10.50%द्विअर्थी पहेलियाँ
drill down10.50%मिच्छामी दुक्कड़म
drill down10.50%prernadayak hasya kavita
drill down10.50%हिन्दी दिवस
drill down10.50%धरती माँ
drill down10.50%ಕನ್ನಡ ಸೇಕ್ಸ
drill down10.50%ਸਤੀ
drill down10.50%hindi hasya kavita on indian rail
drill down10.50%जाको राखे साइ

199 100.00%

13 comments:

डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक' September 18, 2010 at 7:47 PM  

आँकड़े स्वयं बोल रहे हैं!
--
आपकी बात में दम है!

Unknown September 18, 2010 at 8:10 PM  

आदरणीय 'मयंक' जी,
सादर नमस्कार तथा टिप्पणी के लिए कृतज्ञता.........

हो सकता है मेरा अनुमान दोषपूर्ण हो, परन्तु मैंने जब पता लगाया कि आखिर लोग पढ़ना क्या चाहते हैं, तो यही देखने में आया जो मैंने पोस्ट में दिखाया है

मैंने एक से बढ़ कर एक महान दार्शनिक की महानतम सूक्तियों को अपने सभी ब्लोग्स पर ख़ूब लगाया, श्रेष्ठतम कवियों की सर्वोत्तम कवितायें प्रकाशित की, स्वयं की भी अच्छी अच्छी रचनाओं को ब्लॉग परउतारा , परन्तु वहां पर पाठकों की संख्या दहाई से आगे नहीं पहुंची...........दहाई भी तब, जब आप जैसे मित्र लोगों ने मुझे प्रोत्साहन देने के लिए उन पर टिप्पणियां दी

इसके विपरीत अन्य मांसल किस्म की रचनाएं भाग्यशाली रही हैं जिन्हें ख़ूब पाठक मिले

आज की पोस्ट मैंने बड़े दुखी मन से लगाईं है

-अलबेला खत्री

डॉ. महफूज़ अली (Dr. Mahfooz Ali) September 18, 2010 at 10:13 PM  

वाकई में आंकड़े स्वयं बोल रहे हैं.... आपका कहना सही है...

Shah Nawaz September 18, 2010 at 10:19 PM  

आप बात तो सही कह रहे हैं अलबेला जी, आंकड़े भी आपकी बात की सत्यता की कहानी कह रहे हैं.

Manish aka Manu Majaal September 19, 2010 at 9:44 AM  

website पर traffic SEO (serach engine optimization) से आता है. आपकी वेबसाइट पर अगर ज्यादातर लोग सेक्स सम्बन्धी keyword को खोजते हुए आ रहे है, तो इसका एक कारण ये भी हो सकता है की आपके ज्यादातर आलेखों में इन तरह के शब्दों की भरमार हो. SEO एक जटिल प्रक्रिया है, तो उसे समझाना तो एक पोस्ट में संभव नहीं होगा, पर सेक्स का बाज़ार तो हमेशा से ही सबसे आगे रहा है, जिस चीज़ को जितना ज्यादा छुपाया जाए, उसकी उत्सुकता उतनी ही बढ जाती है... यह मनोवैज्ञानिक सत्य है ...

nilesh mathur September 19, 2010 at 11:05 AM  

आप दिन पर दिन ये साबित करते जा रहे हैं की आप मानसिक रूप से विकृत व्यक्ति हैं और दिमागी दिवालियापन के शिकार हैं! आप ब्लॉग जगत में गन्दगी फैला रहे हैं!

Unknown September 19, 2010 at 11:49 AM  

आप बिलकुल सही फरमाते हैं निलेश माथुर जी,

पर जिस क्षेत्र में आप जैसे कर्मठ सफाईकर्मी काम पे लगे हों, वहाँ चिन्ता की कोई बात नहीं, ब्लॉग जगत इतना विस्तृत और साफ़-सुथरा है कि मैं क्या मेरे जैसे हज़ार लोग भी इसे गन्दा नहीं कर सकते..........

-अलबेला खत्री

vijay kumar sappatti September 19, 2010 at 4:13 PM  

albela ji , aapne sahi kaha,.

vijay

गगन शर्मा, कुछ अलग सा September 19, 2010 at 6:44 PM  

एक बात और जो गौर करने वाली है कि हम में से अनेक दोगला चरित्र ले कर चलते हैं। पढेंगे सब चटकारे लेकर पर प्रतिक्रिया स्वरूप चेहरा बिगाड़ कर मुंह खोलेंगे आलोचना के लिये।

Unknown September 19, 2010 at 6:50 PM  

धन्यवाद गगन जी !
आपकी टिप्पणी महत्वपूर्ण है और सत्य आधारित भी.........

अजय कुमार झा September 19, 2010 at 7:29 PM  

एक अफ़सोसजनक सच ......

Hemant Kumar Dubey April 16, 2011 at 1:17 PM  

अफ़सोस यह है कि आज लिखने वाले लोग द्विभाषी हो गए है | हिंदी में अंग्रेजी का प्रयोग करते है और रचनाओं के अर्थ भी दो होते हैं | साफ सुथरा लिखने वालों की कमी अखरती है | लोग जान-बूझ कर ऐसे शब्दों का प्रयोग करतें हैं जिनसे उनके लेख के पाठक बढें, भले ही पाठकों की मानसिकता बिगड़ जायें | कलियुग है |

हमें सावधान रहना चाहिए और अपनी भाषा के प्रयोग में और हम क्या पढ़तें हैं उसमें भी | पूरी दुनियां को सुधारने से पहले हम खुद को सुधारने का प्रयास करें |

राजेंद्र अवस्थी. July 19, 2011 at 11:26 PM  

आज हम सभी भारतवासी पश्चिमी संस्कृति से प्रभावित होते जा रहे है और इसके लिए प्रेरित करती है हमारी अपनी अंग्रेजी बोलने की कुंठा, आज कोई भी गरीब से गरीब व्यक्ति भी अपने बच्चों को कान्वेंट स्कूलों में ही पढाना चाहता है और इन स्कूलों में को एजुकेशन के चलते बिना बाताए ही काफी कुछ बच्चो को समझ आने लगता है, आपके द्वारा प्रस्तुत आंकड़े सत्य और रोचक लगे,ये तो कड़वी सच्च्चाई है जो आपने बताई, पर क्या करें "गंदा है पर धंधा है" बहुत बढ़िया..

Post a Comment

My Blog List

myfreecopyright.com registered & protected
CG Blog
www.hamarivani.com
Blog Widget by LinkWithin

Emil Subscription

Enter your email address:

Delivered by FeedBurner

Followers

विजेट आपके ब्लॉग पर

Blog Archive