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Albela Khatri

आर-पार हो गया................

जब से तुम्हारे हुस्न का दीदार हो गया

मैं आदमी था काम का बेकार हो गया

मारा जो तूने खींच कर अबरू-गुलेल से

वो संग इस जिगर के आर-पार हो गया

8 comments:

योगेन्द्र मौदगिल August 23, 2009 at 12:28 PM  

Wahwa.....वाह

Mithilesh dubey August 23, 2009 at 12:36 PM  

वाह क्या बात है .......

शिवम् मिश्रा August 23, 2009 at 12:55 PM  

इश्क ने ग़ालिब निकम्मा कर दिया ,
वरना हम भी आदमी थे काम के ||

समय चक्र August 23, 2009 at 1:16 PM  

क्या बात है

M VERMA August 23, 2009 at 2:08 PM  

अब दिल का क्या हाल है !!!!

दर्पण साह August 23, 2009 at 3:10 PM  

जब से तुम्हारे हुस्न का दीदार हो गया

मैं आदमी था काम का बेकार हो गया......

ha ha !!

wah wah !!

...ishq ne galib nikamma kar diya.

Udan Tashtari August 23, 2009 at 4:56 PM  

क्या बात है!

राजीव तनेजा August 24, 2009 at 12:54 AM  

बहुत बढिया

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