Albelakhatri.com

Hindi Hasya kavi Albela Khatri's blog

ताज़ा टिप्पणियां

Albela Khatri

क्या मैंने कुछ ग़लत कहा ?

हर आदमी को अपनी माँ के हाथ की रोटियां पसन्द होती हैं,

मुझे भी है

मैंने कल अपनी पत्नी से कह दिया - रोटियां मेरी माँ जैसी बना दिया कर

वो बोली - बना दूंगी.............आटा अपने बाप जैसा गूँथ दिया कर _________हा हा हा हा हा हा हा

13 comments:

अविनाश वाचस्पति June 24, 2009 at 11:58 AM  

आपने गलत तो नहीं कहा
पर यह तो है सबको पता
कि लत तो लत होती है
लत जल्‍दी छोड़ देनी चाहिए
नहीं तो आफत बन लेती है।

Murari Pareek June 24, 2009 at 12:46 PM  

ha .... ha.... badhiya jokes hai!!!!! agale shaniwaar apne show main shamil karungaa kahoo to aapke upar hi bol dun nahi to main hun hi!!

Atmaram Sharma June 24, 2009 at 12:52 PM  

हम अक्सर ही सच को हवा में उड़ाने के आदि है.

ताऊ रामपुरिया June 24, 2009 at 1:28 PM  

झूंठ क्या कहा ताई ने?:)

रामराम.

रंजन June 24, 2009 at 1:58 PM  

हा हा..

राज भाटिय़ा June 24, 2009 at 2:53 PM  

तो भईया इस मै बुरा ही क्या है...:)आखिर आधुनिक नारी के भी कुछ आधिकार है, यानि सारा काम बांट कर होना चहिये, आटा आप गुंथे, रोटी वो पकाये, सब्जी आप काटे, बनाये वो, मेज पर समान आप सजाये, खाये वो, फ़िर बरतन आप साफ़ करे सीधी सी बात है..

वन्दना अवस्थी दुबे June 24, 2009 at 3:05 PM  

हा..हा..लेकिन सही है ये.

निर्मला कपिला June 24, 2009 at 3:09 PM  

ha ha ha bahut khoob

विवेक रस्तोगी June 24, 2009 at 3:18 PM  

अच्छा व्यंग्य है।

Kajal Kumar June 24, 2009 at 3:54 PM  

:))

Udan Tashtari June 24, 2009 at 5:57 PM  

बहुत सही कहा!!

Pt. D.K. Sharma "Vatsa" June 24, 2009 at 8:56 PM  

उन्होने कुछ गलत तो नहीं कहा,जब सारा जमाना यही कुछ कर रहा है तो फिर आपको करने में काहे की शर्म है..:)

स्वप्न मञ्जूषा June 24, 2009 at 9:43 PM  

अब ये बताएँ की आपको रोटी मिली या नहीं ?

Post a Comment

My Blog List

myfreecopyright.com registered & protected
CG Blog
www.hamarivani.com
Blog Widget by LinkWithin

Emil Subscription

Enter your email address:

Delivered by FeedBurner

Followers

विजेट आपके ब्लॉग पर

Blog Archive